Trending News

March 18, 2025 10:19 PM

खुले जंगल में रफ्तार का राजा: कूनो में मादा चीता गामिनी और चार शावकों की सफल रिहाई

kunno-national-park-cheetah-gamini-release-madhya-pradesh

मध्यप्रदेश पर्यटन को मिली नई ऊंचाई, कूनो में 17 चीते स्वच्छंद विचरण करेंगे

भोपाल। मध्यप्रदेश के कूनो-पालपुर नेशनल पार्क में आज एक ऐतिहासिक क्षण देखने को मिला, जब दक्षिण अफ्रीका से लाई गई मादा चीता गामिनी और उसके चार शावकों को खजूरी वन क्षेत्र में खुले जंगल में सफलतापूर्वक छोड़ दिया गया। इस रिहाई के साथ ही कूनो के जंगल में अब कुल 17 चीते स्वच्छंद रूप से विचरण कर रहे हैं, जिससे वन्यजीव प्रेमियों और पर्यटकों के लिए सफारी यात्रा और अधिक रोमांचक हो गई है।

मध्यप्रदेश: एशिया से विलुप्त चीतों के पुनर्वास का केंद्र

एक समय था जब एशिया में चीते पूरी तरह विलुप्त हो चुके थे, लेकिन मध्यप्रदेश की भूमि अब इन रफ्तार के राजाओं के लिए सुरक्षित आश्रय बन चुकी है। न केवल चीते यहां तेजी से अनुकूलित हो रहे हैं, बल्कि उनका कुनबा भी लगातार बढ़ रहा है। इस ऐतिहासिक परियोजना के अंतर्गत चीता पुनर्वास कार्यक्रम को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सराहना मिल रही है।

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने दी जानकारी

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने रविवार को सोशल मीडिया के माध्यम से इस उपलब्धि की जानकारी दी। उन्होंने लिखा:
“कूनो में बढ़ेगा चीतों का कुनबा। कूनो नेशनल पार्क के खजूरी पर्यटन जोन में दक्षिण अफ्रीका से आई मादा चीता गामिनी अपने दो नर और दो मादा शावकों के साथ आज खुले जंगल में छोड़ी गई है। इससे कूनो सफारी के दौरान पर्यटकों को चीतों को उनके प्राकृतिक आवास में देखने का दुर्लभ अवसर मिलेगा, जिससे निश्चित ही पर्यटकों की संख्या में वृद्धि होगी।”

कैसे हुई गामिनी और उसके शावकों की रिहाई?

चीतों को जंगल में छोड़ने की प्रक्रिया को ध्यानपूर्वक और वैज्ञानिक तरीके से अंजाम दिया गया। विशेषज्ञों की एक टीम ने पहले चीतों की स्वास्थ्य जांच की और यह सुनिश्चित किया कि वे खुले जंगल में जीवित रहने के लिए पूरी तरह तैयार हैं। इसके बाद उन्हें बड़े बाड़े से प्राकृतिक आवास में छोड़ने की प्रक्रिया शुरू की गई

इस दौरान वन विभाग के अधिकारी, वन्यजीव विशेषज्ञ और ट्रैकिंग टीम मौजूद रही, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि चीते नई जगह को सहजता से अपना सकें। यह प्रक्रिया दर्शाती है कि मध्यप्रदेश वन्यजीव संरक्षण में अग्रणी राज्य बन रहा है।

पर्यटन को मिलेगा बढ़ावा, रोमांचक होगी सफारी यात्रा

कूनो नेशनल पार्क अब देश-विदेश के पर्यटकों के लिए एक बड़ा आकर्षण केंद्र बन चुका है। सफारी के दौरान अब पर्यटकों को चीतों को उनके प्राकृतिक आवास में देखने का अवसर मिलेगा, जिससे यहां पर्यटकों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि होने की संभावना है।

मध्यप्रदेश सरकार वन्यजीव संरक्षण और पर्यटन को नई ऊंचाइयों तक ले जाने हेतु संकल्पित है। कूनो-पालपुर नेशनल पार्क में चीतों की बढ़ती संख्या इस बात का प्रमाण है कि वन्यजीव संरक्षण के प्रति सरकार की नीतियां सफल और प्रभावी साबित हो रही हैं।

कूनो नेशनल पार्क: चीतों के संरक्षण का एक सफल मॉडल

चीतों को भारत में फिर से बसाने की योजना के तहत, 2022 में नामीबिया और दक्षिण अफ्रीका से प्रोजेक्ट चीता के तहत चीतों को लाया गया था। इन चीतों को पहले विशेष निगरानी में रखा गया, ताकि वे भारत के पर्यावरण में खुद को ढाल सकें।

अब धीरे-धीरे इन्हें खुले जंगल में छोड़ा जा रहा है, जिससे वे स्वतंत्र रूप से शिकार कर सकें और अपना क्षेत्र स्थापित कर सकें।

क्या कहते हैं विशेषज्ञ?

वन्यजीव विशेषज्ञों के अनुसार, चीतों को सफलतापूर्वक बसाने के लिए कूनो-पालपुर का पारिस्थितिकी तंत्र बेहद अनुकूल है। पर्याप्त घास के मैदान, जल स्रोत और शिकार उपलब्धता के चलते चीते यहां तेजी से बढ़ रहे हैं।

वन्यजीव विशेषज्ञ डॉ. संजय पाठक का कहना है:
“कूनो में चीता संरक्षण परियोजना का यह चरण बेहद महत्वपूर्ण है। गामिनी और उसके शावकों को खुले जंगल में छोड़ने का मतलब है कि वे अब पूरी तरह से जंगल के प्राकृतिक माहौल में रहने के लिए तैयार हैं। यह मध्यप्रदेश के लिए गर्व की बात है कि यहां चीते सफलतापूर्वक बस रहे हैं।”

निष्कर्ष: मध्यप्रदेश बना वन्यजीव संरक्षण का अग्रणी राज्य

कूनो में चीतों की बढ़ती संख्या यह दर्शाती है कि मध्यप्रदेश वन्यजीव संरक्षण के क्षेत्र में नई ऊंचाइयों को छू रहा है। सरकार की सक्रियता, वैज्ञानिक तरीके से की जा रही निगरानी और सुरक्षित वातावरण के चलते चीते न केवल जीवित रह रहे हैं, बल्कि繁殖 भी कर रहे हैं

अब जब गामिनी और उसके शावकों को खुले जंगल में छोड़ दिया गया है, तो यह देखना दिलचस्प होगा कि वे कूनो के प्राकृतिक आवास में कैसे फलते-फूलते हैं। इससे न केवल पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि मध्यप्रदेश वन्यजीव संरक्षण के क्षेत्र में वैश्विक मानचित्र पर अपनी पहचान और मजबूत करेगा।

(रिपोर्ट: स्वदेश ज्योति टीम)

Share on facebook
Share on twitter
Share on linkedin
Share on whatsapp
Share on telegram