मस्कट में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और सुल्तान हैथम बिन तारिक के बीच द्विपक्षीय वार्ता, रणनीतिक साझेदारी को मिला नया आयाम

नई दिल्ली, 18 दिसंबर (हि.स.)। भारत और ओमान के द्विपक्षीय संबंधों में गुरुवार को एक महत्वपूर्ण मोड़ आया, जब दोनों देशों के बीच व्यापक आर्थिक साझेदारी समझौते यानी सीईपीए पर हस्ताक्षर हुए। इसके साथ ही समुद्री विरासत एवं संग्रहालय, कृषि एवं संबद्ध क्षेत्र तथा उच्च शिक्षा के क्षेत्र में तीन महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापनों पर भी सहमति बनी। यह समझौते ऐसे समय में हुए हैं, जब भारत और ओमान अपने राजनयिक संबंधों की स्थापना के 70 वर्ष पूरे होने का उत्सव मना रहे हैं।

सीईपीए से व्यापार और निवेश को नई गति

विदेश मंत्रालय के अनुसार, सीईपीए का उद्देश्य भारत और ओमान के बीच आर्थिक एवं वाणिज्यिक एकीकरण को सुदृढ़ करना है। इस समझौते के तहत व्यापारिक बाधाओं को कम करने और एक स्थिर तथा भरोसेमंद ढांचा तैयार करने पर सहमति बनी है, जिससे दोनों देशों के बीच व्यापार को बढ़ावा मिलेगा। सरकार का मानना है कि सीईपीए के लागू होने से अर्थव्यवस्था के सभी प्रमुख क्षेत्रों में नए अवसर खुलेंगे, आर्थिक विकास को गति मिलेगी, रोजगार सृजन को बल मिलेगा और निवेश प्रवाह में बढ़ोतरी होगी।

कृषि, मोटा अनाज और नवाचार में साझेदारी

दोनों देशों ने मोटा अनाज की खेती और कृषि-खाद्य नवाचार में सहयोग के लिए एक कार्यकारी कार्यक्रम अपनाया। इसके अंतर्गत कृषि विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी में प्रगति, बागवानी संवर्धन, एकीकृत कृषि प्रणालियों और सूक्ष्म सिंचाई जैसे क्षेत्रों में संयुक्त प्रयास किए जाएंगे। भारत की वैज्ञानिक विशेषज्ञता और ओमान की अनुकूल कृषि-जलवायु परिस्थितियों के बीच तालमेल स्थापित कर व्यावहारिक अनुसंधान को बढ़ावा देने पर जोर दिया गया है, जिससे दोनों देशों को दीर्घकालिक लाभ मिल सके।

समुद्री विरासत और सुरक्षा पर साझा दृष्टिकोण

समझौता ज्ञापनों के तहत समुद्री विरासत एवं संग्रहालयों में सहयोग के लिए साझेदारी स्थापित की जाएगी, जिसमें लोथल स्थित राष्ट्रीय समुद्री विरासत परिसर भी शामिल है। इसके अलावा समुद्री सहयोग पर संयुक्त दृष्टिकोण दस्तावेज को अपनाया गया, जिससे क्षेत्रीय समुद्री सुरक्षा, नीली अर्थव्यवस्था और समुद्री संसाधनों के सतत उपयोग के क्षेत्रों में सहयोग और मजबूत होगा। यह पहल हिंद महासागर क्षेत्र में स्थिरता और सहयोग के लिहाज से महत्वपूर्ण मानी जा रही है।

G8c2rMeakAApdQS

उच्च शिक्षा और अनुसंधान में सहयोग

उच्च शिक्षा के क्षेत्र में दोनों देशों ने पारस्परिक हित के क्षेत्रों में संयुक्त अनुसंधान को बढ़ावा देने पर सहमति व्यक्त की है। इसके तहत संकाय सदस्यों, शोधकर्ताओं और विद्वानों के आदान-प्रदान को सुगम बनाया जाएगा। विशेष रूप से व्यावहारिक अनुसंधान पर ध्यान केंद्रित करते हुए शिक्षा और नवाचार को द्विपक्षीय सहयोग का अहम स्तंभ बनाया जाएगा।

प्रधानमंत्री–सुल्तान वार्ता में रणनीतिक साझेदारी की समीक्षा

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मस्कट में रॉयल पैलेस में ओमान के सुल्तान हैथम बिन तारिक के साथ द्विपक्षीय बैठक की। इस दौरान दोनों नेताओं ने प्रत्यक्ष और प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता में भारत–ओमान रणनीतिक साझेदारी की व्यापक समीक्षा की। उन्होंने द्विपक्षीय संबंधों में लगातार हो रही प्रगति की सराहना की और इस यात्रा को दोनों देशों के रिश्तों के लिए विशेष महत्व का बताया।

विजन 2040 और विकसित भारत 2047 के बीच तालमेल

बैठक में ओमान विज़न 2040 और भारत के विकसित भारत 2047 के लक्ष्यों के बीच तालमेल का स्वागत किया गया। नेताओं ने अपने-अपने देशों के नागरिकों की आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए एक-दूसरे के प्रयासों को समर्थन देने की प्रतिबद्धता दोहराई। साथ ही क्षेत्रीय और वैश्विक घटनाक्रमों पर विचारों का आदान-प्रदान करते हुए शांति और स्थिरता के प्रति साझा दृष्टिकोण को रेखांकित किया गया।

ऊर्जा, डिजिटल भुगतान और वित्तीय सहयोग

प्रधानमंत्री ने ओमान के अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन में शामिल होने की सराहना की और आपदा प्रतिरोधी बुनियादी ढांचे के गठबंधन तथा वैश्विक जैव ईंधन गठबंधन में शामिल होने का आमंत्रण दिया। वित्तीय सेवाओं के क्षेत्र में यूपीआई और ओमान की डिजिटल भुगतान प्रणाली के बीच सहयोग, रुपे कार्ड को अपनाने और स्थानीय मुद्राओं में व्यापार को लेकर चर्चा हुई। इन पहलों से दोनों देशों के बीच आर्थिक लेनदेन को और सुगम बनाने की दिशा में ठोस आधार तैयार होने की उम्मीद है।

ऊर्जा, सुरक्षा और नए क्षेत्रों में सहयोग का विस्तार

दोनों नेताओं ने दीर्घकालिक ऊर्जा व्यवस्था, नवीकरणीय ऊर्जा उद्यमों, हरित हाइड्रोजन और हरित अमोनिया परियोजनाओं के माध्यम से ऊर्जा सहयोग को नई गति देने पर सहमति जताई। इसके साथ ही खाद्य सुरक्षा, विनिर्माण, डिजिटल प्रौद्योगिकियों, महत्वपूर्ण खनिजों, रसद, मानव-पूंजी विकास और अंतरिक्ष सहयोग जैसे क्षेत्रों में भी साझेदारी को आगे बढ़ाने पर चर्चा हुई। समुद्री क्षेत्र सहित रक्षा और सुरक्षा सहयोग को मजबूत करने की प्रतिबद्धता भी दोहराई गई, जिसे क्षेत्रीय स्थिरता के लिए अहम माना जा रहा है।

स्वदेश ज्योति के द्वारा | और भी दिलचस्प खबरें आपके लिए… सिर्फ़ स्वदेश ज्योति पर!

सर्दी जड़ से खत्म कर देगा ये आयुर्वेदिक काढ़ा

लोकसभा में हंगामे के बीच वीबी-जी राम जी विधेयक पारित: मनरेगा की जगह नया ग्रामीण रोजगार कानून लागू करने की राह साफ

प्रधानमंत्री ने ओमान को हर मौसम मित्र बताया: सीईपीए रिश्तों को देगा नया विश्वास और नई ऊर्जा

नाथन लियोन ने रचा इतिहास: टेस्ट क्रिकेट में छठे सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज बने