डोनाल्ड ट्रम्प बने अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति, फैसले पलटे, पुतिन पर साधा निशाना
वॉशिंगटन। डोनाल्ड ट्रम्प ने सोमवार रात अमेरिकी संसद कैपिटल हिल में अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ ली। यह उनके राजनीतिक करियर का दूसरा कार्यकाल है, क्योंकि इससे पहले वह 2017 से 2021 तक अमेरिका के 45वें राष्ट्रपति रह चुके हैं। शपथ ग्रहण समारोह में सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश जॉन रॉबर्ट्स ने उन्हें शपथ दिलाई।
इस दौरान उनकी पत्नी मेलानिया ट्रम्प हाथ में बाइबिल लिए उनके साथ खड़ी रहीं। शपथ ग्रहण के तुरंत बाद पूरा कैपिटल रोटुंडा हॉल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा। शपथ के बाद ट्रम्प ने एक उत्साही भाषण दिया, जिसमें उन्होंने भगवान को धन्यवाद दिया और कहा, “भगवान ने मुझे अमेरिका को महान बनाने के लिए बचाया।”
शपथ ग्रहण के पहले उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने भी शपथ ली। ट्रम्प ने अपने संबोधन में अमेरिकी जनता और अपनी टीम का आभार व्यक्त करते हुए अपने विजन को स्पष्ट किया और देश को “दुनिया का सबसे शक्तिशाली और सुरक्षित राष्ट्र” बनाने की प्रतिबद्धता जताई।
बाइडेन के 78 फैसले पलटे
राष्ट्रपति पद की शपथ लेते ही ट्रम्प ने अपने पूर्ववर्ती जो बाइडेन द्वारा लिए गए 78 फैसलों को रद्द कर दिया। इनमें जलवायु परिवर्तन समझौता, आप्रवास नीतियां, और आर्थिक सुधार से जुड़े फैसले शामिल हैं। उन्होंने कहा, “हम अमेरिका को वापस अपनी प्राथमिकताओं की ओर ले जाएंगे। यह देश पहले जैसा था, और इसे फिर से महान बनाएंगे।”
पुतिन पर तीखा हमला, रूस के लिए चेतावनी
शपथ के बाद आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में ट्रम्प ने रूस-यूक्रेन युद्ध पर अपनी राय व्यक्त की। उन्होंने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन को सीधे तौर पर संबोधित करते हुए कहा, “पुतिन अपनी जिद पर अड़े रहकर और कोई समझौता न करके रूस को तबाह कर रहे हैं। मुझे लगता है कि रूस बहुत बड़ी मुसीबत में है। पुतिन को यूक्रेन के साथ युद्ध खत्म करने के लिए तुरंत समझौता करना चाहिए।”
उन्होंने जोर देकर कहा कि उनकी सरकार युद्ध को खत्म करने के लिए हर संभव प्रयास करेगी और विश्व शांति को प्राथमिकता देगी। ट्रम्प ने यह भी कहा कि इस जंग ने रूस की अर्थव्यवस्था और अंतरराष्ट्रीय स्थिति को कमजोर कर दिया है, और इससे न केवल रूस, बल्कि पूरी दुनिया प्रभावित हो रही है।
ट्रम्प का विजन और प्राथमिकताएं
अपने पहले कार्यदिवस पर ट्रम्प ने अपने कार्यकाल के लिए प्राथमिकताओं की घोषणा की। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार अमेरिकी जनता के हितों को सर्वोपरि रखेगी और आर्थिक समृद्धि, सीमा सुरक्षा, और ऊर्जा आत्मनिर्भरता पर ध्यान केंद्रित करेगी।
उन्होंने आगे कहा, “अमेरिका को अब अपनी ऊर्जा नीति में आत्मनिर्भरता हासिल करनी होगी। हम न केवल अपने नागरिकों के लिए, बल्कि पूरे विश्व के लिए स्थिरता और शांति की ओर अग्रसर होंगे।”
अंतरराष्ट्रीय समुदाय को संदेश
ट्रम्प ने अपने भाषण में अंतरराष्ट्रीय समुदाय को भी संबोधित किया और कहा कि उनकी सरकार वैश्विक सहयोग को बढ़ावा देगी, लेकिन अमेरिका के हितों को प्राथमिकता देगी। उन्होंने कहा, “हमारी विदेश नीति स्पष्ट होगी। हम दोस्ती का हाथ बढ़ाएंगे, लेकिन अपनी सुरक्षा और सम्मान से समझौता नहीं करेंगे।”
समारोह में दुनिया की नजरें
डोनाल्ड ट्रम्प के शपथ ग्रहण समारोह को दुनिया भर के देशों ने करीब से देखा। यह शपथ ग्रहण न केवल अमेरिका के लिए, बल्कि वैश्विक राजनीति के लिए भी महत्वपूर्ण क्षण माना जा रहा है। ट्रम्प के नेतृत्व में अमेरिका किस दिशा में जाएगा, यह आने वाले दिनों में स्पष्ट होगा।