बेसमेंट से उठी लपटें देखते ही देखते पूरी इमारत में फैल गईं; 19 से अधिक लोग सुरक्षित निकाले गए, जनहानि नहीं
अहमदाबाद । गुजरात के भावनगर के कालनाला क्षेत्र में बुधवार सुबह एक बहुमंजिला कॉम्प्लेक्स में अचानक आग लगने से पूरे इलाके में हड़कंप मच गया। आग की शुरुआत बेसमेंट से हुई और थोड़ी ही देर में धुआँ पूरे भवन में फैल गया। चूँकि इस कॉम्प्लेक्स में तीन से चार अस्पताल संचालित होते हैं, इसलिए स्थिति और अधिक संवेदनशील हो गई। धुआँ अस्पतालों के कमरों, गलियारों और उपचार कक्षों में तेजी से भरने लगा, जिसके कारण मरीजों और परिजनों में अफरा–तफरी मच गई। घटना की जानकारी मिलते ही अस्पताल प्रबंधन ने तुरंत मरीजों को बाहर निकालना शुरू किया। कुछ मरीजों को स्ट्रेचर और व्हीलचेयर के सहारे बाहर लाया गया, जबकि गंभीर मामलों को मेडिकल टीम की सहायता से सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया गया।
नाइस चिल्ड्रन हॉस्पिटल में खिड़कियाँ तोड़कर बच्चों को बाहर निकाला गया
सबसे चुनौतीपूर्ण रेस्क्यू नाइस चिल्ड्रन हॉस्पिटल में हुआ, जो कॉम्प्लेक्स की पहली मंजिल पर स्थित है। तेज धुएँ के कारण मुख्य मार्ग बंद हो गए, इसलिए फायर टीम ने खिड़कियाँ तोड़कर बाहर सीढ़ी लगाई और बच्चों को एक-एक कर सुरक्षित नीचे उतारा। कई माता–पिता भयभीत होकर बच्चों की सलामती की जानकारी लेने बाहर खड़े रहे। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार फायर कर्मियों ने तेजी और साहस के साथ बच्चों को सुरक्षित स्थान तक पहुँचाया, जिससे बड़ा हादसा होने से टल गया। रेस्क्यू के दौरान कई नर्सें और डॉक्टर भी बच्चों को संभालने में जुटे रहे।
19–20 लोगों को सुरक्षित निकाला गया
फायर अधिकारी प्रद्युम्नसिंह ने बताया कि अब तक 19 से 20 लोगों का सफलतापूर्वक रेस्क्यू किया गया है। धुएँ के कारण कई लोग घबरा गए थे, जिन्हें प्राथमिक उपचार देकर बाहर लाया गया। अग्निशमन विभाग के अनुसार आग बुझाने के अभियान में पाँच दमकल वाहन और पचास से अधिक कर्मचारी शामिल थे। दमकलकर्मियों ने बेसमेंट में मौजूद ज्वलनशील सामग्री को हटाया और फैल चुके धुएँ को भवन से बाहर निकालने के लिए वेंटिलेशन प्रक्रिया अपनाई। समय रहते आग पर नियंत्रण पा लिया गया, जिससे बड़ा नुकसान होने से बच गया। फिलहाल भवन के भीतर शेष धुएँ को बाहर निकालने का काम जारी है।
किसी भी प्रकार की जनहानि नहीं, मरीजों को शिफ्ट किया गया
प्रशासन ने बताया कि इस घटना में किसी भी व्यक्ति की मृत्यु या गंभीर चोट की सूचना नहीं है। धुएँ से बढ़ते खतरे को देखते हुए अस्पतालों के मरीजों को नजदीकी चिकित्सा केंद्रों में शिफ्ट कर दिया गया है। चिकित्सकों का कहना है कि सभी मरीज सुरक्षित हैं और जिन लोगों ने अधिक धुआँ साँस में लिया था, उन्हें प्राथमिक उपचार प्रदान किया गया है।
आग लगने के कारणों की जाँच शुरू
अग्निशमन विभाग ने आग लगने के संभावित कारणों की जाँच शुरू कर दी है। शुरुआती अनुमान है कि बेसमेंट में रखी गई सामग्री या किसी विद्युत उपकरण में खराबी के कारण आग भड़की हो सकती है। हालांकि वास्तविक कारणों की पुष्टि फायर सुरक्षा विशेषज्ञों की विस्तृत रिपोर्ट आने के बाद ही हो सकेगी। स्थानीय लोगों का कहना है कि कॉम्प्लेक्स में अधिक भीड़ रहती है और कई बार बेसमेंट में सामान अनियमित रूप से रखा जाता है, जो आग की घटना को बढ़ावा दे सकता है। विभाग ने भवन में संचालित अस्पतालों की सुरक्षा व्यवस्था की भी जाँच शुरू कर दी है।
धुएँ के कारण ऊपरी मंज़िलों पर रेस्क्यू चुनौतीपूर्ण रहा
बच्चों को खिड़कियाँ तोड़कर बचाने का निर्णय तत्काल स्थिति को देखते हुए लिया गया प्रशासन ने तत्काल आस-पास के अस्पतालों को सूचना देकर मरीजों को शिफ्ट करने की व्यवस्था कराई फायर विभाग ने पाँच दमकल वाहनों और पचास से अधिक कर्मियों को भेजकर लगभग एक घंटे में आग पर नियंत्रण पा लिया प्रशासन का कहना है कि यदि रेस्क्यू में थोड़ी भी देर होती तो स्थिति गंभीर हो सकती थी। अब भवन की सुरक्षा खामियों, आपात निकासी मार्ग और विद्युत प्रणाली की भी जाँच की जाएगी।
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