भोपाल, 20 अप्रैल 2025
देश का सबसे स्वच्छ शहर बनने की दौड़ में एक बार फिर भोपाल पूरी ताकत से मैदान में है। स्वच्छता सर्वेक्षण 2024 के लिए दिल्ली से आई गार्बेज फ्री सिटी (GFC) की टीम ने शनिवार से भोपाल में फील्ड सर्वे शुरू कर दिया है। टीम शहर के अलग-अलग जोनों में पहुंचकर सफाई व्यवस्था की जांच कर रही है और स्थानीय रहवासियों से फीडबैक ले रही है।
🔍 कैसे हो रहा है सर्वे?
टीमों का फोकस इस बार “पब्लिक फीडबैक” पर है। वे नागरिकों से पूछ रही हैं –
- क्या आपके क्षेत्र में नियमित रूप से कचरा वाहन आता है?
- क्या आपको स्वच्छता संबंधी सेवाओं से संतुष्टि है?
यह सब फीडबैक सीधे ऑनलाइन पोर्टल पर रिकॉर्ड हो रहा है। टीमें किस लोकेशन पर जाएंगी, इसकी पूर्व जानकारी निगम को नहीं दी जा रही ताकि निष्पक्षता बनी रहे।
🗺️ किन-किन वार्डों में पहुंची टीमें?
- शनिवार को कोलार क्षेत्र के वार्ड 80, जोन 11 के वार्ड 70, और जोन 6 व 19 के इलाकों में सर्वे किया गया।
- कुल मिलाकर 20 लोकेशनों पर टीमों ने निरीक्षण किया और लोगों से डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन की स्थिति का जायजा लिया।
- रविवार को जोन 9 व 17 के अन्य वार्डों में टीम का दौरा निर्धारित है।
🖥️ ऑनलाइन लोकेशन के आधार पर हो रहा है सर्वे
ULB (Urban Local Body) पोर्टल पर नगर निगम द्वारा अपलोड किए गए दस्तावेजों को ही टीम आधार बना रही है। जैसे ही ULB पोर्टल पर कोई वार्ड खुलता है, टीम बिना पूर्व सूचना दिए वहां पहुंच रही है। यही कारण है कि नगर निगम के अधिकारी हर समय चौकस हैं।
🏆 भोपाल का दावा – फिर बनेगा सबसे स्वच्छ शहर
नगर निगम भोपाल ने इस बार भी देश का “सबसे स्वच्छ शहर” बनने का दावा किया है। इसी दावे की परख के लिए GFC टीम भोपाल में हर पहलू की गहन जांच कर रही है।
⚠️ मैदान में तैनात रहा निगम अमला
जिन-जिन जोनों में टीमों के पहुंचने की संभावना थी, वहां के Zonal Officers, Assistant Health Officers (AHO) और मैदानी कर्मचारी पहले से एक्टिव रहे। Ward-wise Beat Charts के अनुसार व्यवस्था दुरुस्त की गई ताकि सर्वे के दौरान कोई शिकायत न मिले।
📝 निष्कर्ष: जनता का फीडबैक बनेगा निर्णायक
इस बार के स्वच्छता सर्वेक्षण में सिर्फ डॉक्युमेंट और डेटा नहीं, बल्कि जनता का सीधा फीडबैक निर्णायक साबित होने वाला है। भोपाल के नागरिकों को भी चाहिए कि वे अपनी बात खुलकर साझा करें और शहर को स्वच्छ बनाने में योगदान दें।