- मई की गर्मी सामान्य से कहीं ज्यादा झुलसाने वाली हो सकती है
- बाड़मेर जिले ने अप्रैल महीने में ही तापमान का 11 साल पुराना रिकॉर्ड तोड़ डाला
नई दिल्ली। देश के कई हिस्सों में इस साल मई की गर्मी सामान्य से कहीं ज्यादा झुलसाने वाली हो सकती है। मौसम विभाग के अनुसार उत्तर भारत और मध्य भारत के राज्यों में लू के दिनों की संख्या औसतन चार दिन ज्यादा हो सकती है। राजस्थान, हरियाणा, पंजाब, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल ऐसे इलाके हैं जहां लू का असर ज्यादा देखने को मिलेगा। इसी चेतावनी के बीच राजस्थान के बाड़मेर जिले ने अप्रैल महीने में ही तापमान का 11 साल पुराना रिकॉर्ड तोड़ डाला। बुधवार को बाड़मेर में पारा 46.8 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। इससे पहले इतना तापमान 29 अप्रैल 2014 को दर्ज किया गया था। मौसम विशेषज्ञों के अनुसार मई में ऐसे कई और रिकॉर्ड टूट सकते हैं।

मध्य भारत में भी अलर्ट, तापमान 48 डिग्री तक पहुंच सकता है
मध्य प्रदेश में मई के महीने में भीषण गर्मी का ट्रेंड पहले से ही रहा है। पिछले 10 वर्षों के तापमान रिकॉर्ड बताते हैं कि एमपी और उत्तरप्रदेश की सीमा से लगे जिलों में पारा 48 डिग्री सेल्सियस तक जा चुका है। इस बार भी ऐसे ही हालात बनते नजर आ रहे हैं। अप्रैल में देशभर में कुल 72 ‘हीटवेव डे’ दर्ज किए गए, जिनमें से राजस्थान और गुजरात में 6 से 11 दिन तक लू चली। पूर्वी मध्य प्रदेश और विदर्भ क्षेत्र में भी 4 से 6 दिन तक लू ने लोगों को बेहाल किया।
क्या होता है ‘हीटवेव डे’? समझिए गणना का तरीका
हीटवेव की गिनती सामान्य कैलेंडर की तरह नहीं होती। मान लीजिए, किसी महीने में दिल्ली में 10 दिन, राजस्थान में 15 दिन, यूपी में 12 और बिहार में 8 दिन लू चली, तो कुल हीटवेव डे 45 माने जाएंगे, न कि यह समझा जाएगा कि महीने में 45 दिन लू चली। यानी यह गिनती स्थान आधारित घटनाओं पर आधारित होती है, न कि एक साथ बीते दिनों पर। साल 2024 में भारत में 554 हीटवेव डे दर्ज किए गए थे, जो इसे देश के सबसे गर्म सालों में से एक बनाते हैं। अब 2025 में भी गर्मी के तेवर कुछ ऐसे ही रहने के आसार हैं।