भाजपा सांसदों की कार्यशाला का समापन, प्रधानमंत्री मोदी करेंगे संबोधन और देंगे मार्गदर्शन

भाजपा सांसदों की कार्यशाला का आज आखिरी दिन, प्रधानमंत्री मोदी देंगे संबोधन

नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसदों की दो दिवसीय कार्यशाला का आज सोमवार को आखिरी दिन है। इस समापन सत्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी स्वयं सांसदों को संबोधित करेंगे। कार्यशाला में एनडीए (राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन) दलों के सांसद भी शामिल हो रहे हैं।

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उपराष्ट्रपति चुनाव को लेकर विशेष प्रशिक्षण

केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने बताया कि कार्यशाला के दौरान सांसदों को 9 सितंबर को होने वाले उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए मतदान प्रक्रिया का प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि भाजपा और एनडीए सांसदों का एक-एक वोट सही ढंग से डाला जा सके और किसी प्रकार की तकनीकी त्रुटि न हो। पार्टी चाहती है कि 100 प्रतिशत मतदान सुनिश्चित किया जाए।

कार्यशाला का पहला दिन और पीएम मोदी की मौजूदगी

कार्यशाला का शुभारंभ रविवार को हुआ था। इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी इसमें शामिल हुए। खास बात यह रही कि उन्होंने कार्यशाला के पहले दिन हॉल में सबसे पीछे की पंक्ति में बैठकर अन्य सांसदों के साथ कार्यक्रम में भाग लिया।

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प्रधानमंत्री ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर फोटो साझा करते हुए लिखा—
"संसद कार्यशाला में देशभर के सांसद साथियों और वरिष्ठ नेताओं से विचार साझा हुए। ऐसे मंच एक-दूसरे से सीखने और जनता की बेहतर सेवा के लिए बेहद अहम हैं।"

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जीएसटी सुधारों पर चर्चा और प्रस्ताव

कार्यशाला के पहले दिन सांसदों ने जीएसटी सुधारों की सराहना की और प्रधानमंत्री मोदी को धन्यवाद दिया। इस दौरान एक प्रस्ताव भी पास किया गया जिसके अनुसार भाजपा देशभर में जीएसटी के लाभ आम जनता तक पहुंचाने के लिए व्यापक अभियान चलाएगी।

सांसदों ने कहा कि हाल ही में जीएसटी स्लैब में किए गए बदलाव उपभोक्ताओं और उद्योग जगत दोनों के लिए लाभकारी सिद्ध होंगे। पार्टी का मानना है कि इस कदम से व्यापारिक गतिविधियों में पारदर्शिता बढ़ेगी और आम जनता को राहत मिलेगी।

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कार्यशाला का महत्व

इस तरह की कार्यशालाओं का मुख्य उद्देश्य सांसदों को विधायी कार्यप्रणाली, संसदीय प्रक्रियाओं और जनहित के मुद्दों पर और अधिक प्रभावी ढंग से काम करने के लिए तैयार करना है। भाजपा का मानना है कि संगठित प्रयास और अनुशासन के माध्यम से संसद में बेहतर तरीके से जनप्रतिनिधित्व किया जा सकता है।

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कार्यशाला के समापन अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संबोधन सांसदों के लिए मार्गदर्शक साबित होगा। उम्मीद है कि वे आने वाले उपराष्ट्रपति चुनाव, संगठनात्मक मजबूती और आगामी सत्रों में पार्टी की रणनीति पर भी अपने विचार साझा करेंगे।