• पहले चरण में राजग का पलड़ा भारी, नीतीश फैक्टर और महिला वोट निर्णायक साबित हो सकते हैं

पटना। बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के पहले चरण में 6 नवंबर को 18 जिलों की 121 सीटों पर मतदान होगा। पहले चरण के प्रचार का शोरगुल सोमवार शाम पांच बजे थम जाएगा। इस चरण में दरभंगा, मुंगेर और पटना प्रमंडल की कई सीटें इस बार हाई प्रोफाइल बनी हुई हैं। खासकर तारापुर, अलीनगर, सरायरंजन, मोकामा और लखीसराय सीटों पर सबकी नजर है।

साल 2020 के विधानसभा चुनाव में इन तीनों प्रमंडलों में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) ने महागठबंधन पर स्पष्ट बढ़त बनाई थी। इस बार भी राजनीतिक समीकरणों और उम्मीदवारों को देखते हुए पहले चरण में राजग की स्थिति मजबूत मानी जा रही है।


पहले चरण में इन जिलों में होगा मतदान

पहले चरण में पटना, भोजपुर, बक्सर, गोपालगंज, सीवान, सारण, मुजफ्फरपुर, वैशाली, दरभंगा, समस्तीपुर, मधेपुरा, सहरसा, खगड़िया, बेगूसराय, मुंगेर, लखीसराय, शेखपुरा और नालंदा जिलों की सीटों पर मतदान होगा।

2020 में पटना जिले की 14 सीटों में से 9 पर राजग और 5 पर महागठबंधन का कब्जा था। इस बार भाजपा के टिकट पर कांग्रेस से आए सिद्धार्थ गौतम के मैदान में उतरने से गठबंधन को अतिरिक्त मजबूती मिली है।


दरभंगा प्रमंडल की चार हॉट सीटें

दरभंगा प्रमंडल इस बार चुनावी चर्चा का केंद्र बना हुआ है। यहां की अलीनगर, जाले, दरभंगा शहरी और बहादुरपुर सीटें सबसे ज्यादा सुर्खियों में हैं।

  • जाले सीट से नगर विकास मंत्री जीवेश मिश्रा (भाजपा) मैदान में हैं, जबकि कांग्रेस ने ललित नारायण मिश्र के पोते ऋषि मिश्रा को टिकट दिया है।
  • अलीनगर सीट पर लोक गायिका मैथिली ठाकुर की उम्मीदवारी से मुकाबला दिलचस्प हो गया है। राजद ने यहां विनोद मिश्रा को उतारा है।
  • दरभंगा शहरी सीट से मंत्री संजय सरावगी (भाजपा) मैदान में हैं, जिनके सामने जन सुराज के आर.के. मिश्रा और वीआईपी के उमेश साहनी हैं।
  • बहादुरपुर सीट से मंत्री मदन सहनी (जदयू) का मुकाबला राजद के भोला यादव से है, जो लालू यादव के करीबी माने जाते हैं।

दरभंगा जिले की 10 सीटों में 2020 में राजग ने 9 सीटें जीती थीं, जिनमें जदयू, भाजपा और वीआईपी सभी शामिल थे।


समस्तीपुर में कड़ा मुकाबला

समस्तीपुर जिले की सरायरंजन सीट से मंत्री विजय चौधरी (जदयू) मैदान में हैं, जिनके खिलाफ राजद ने अरविंद साहनी को उतारा है।
उजियारपुर सीट पर राजद के वरिष्ठ नेता आलोक कुमार मेहता का मुकाबला राष्ट्रीय लोक मोर्चा के प्रशांत कुमार पंकज से है।

महागठबंधन में मुकेश सहनी की वापसी से मल्लाह वोटों में हलचल मची है, लेकिन महिला मतदाताओं का झुकाव अब भी राजग की ओर माना जा रहा है। चार प्रमुख मंत्रियों — संजय सरावगी, विजय चौधरी, जीवेश मिश्रा और मदन सहनी — की सक्रियता से राजग को मजबूत स्थिति में देखा जा रहा है।


कोसी क्षेत्र में भी राजग की बढ़त

कोसी क्षेत्र की सीटों पर भी इस बार राजग का पलड़ा भारी बताया जा रहा है।
मधेपुरा की चार सीटों में 2020 में राजग और महागठबंधन को दो-दो सीटें मिली थीं।
इस बार सहरसा और आलमनगर में राजग के उम्मीदवारों को बढ़त मानी जा रही है।

मधेपुरा सीट से पूर्व शिक्षा मंत्री प्रो. चंद्रशेखर (राजद) के सामने जदयू की कविता कुमारी शाह,
जबकि आलमनगर सीट से नरेंद्र नारायण यादव (जदयू) फिर से मैदान में हैं।


मुंगेर प्रमंडल में उपमुख्यमंत्रियों की प्रतिष्ठा दांव पर

मुंगेर प्रमंडल की दो सीटें इस बार सबसे प्रतिष्ठित मानी जा रही हैं।

  • तारापुर सीट से उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी (भाजपा) मैदान में हैं, जबकि राजद ने अरुण कुमार को उतारा है।
  • लखीसराय सीट से उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा (भाजपा) चुनाव लड़ रहे हैं, उनके सामने कांग्रेस के अमरेश कुमार हैं।

2020 में भी मुंगेर प्रमंडल में कांटे की टक्कर के बावजूद राजग को अंतिम दौर में बढ़त मिली थी। इस बार चिराग पासवान और उपेंद्र कुशवाहा के जुड़ने से गठबंधन का आधार और मजबूत माना जा रहा है।


नालंदा में नीतीश फैक्टर सबसे मजबूत

नालंदा, जो मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का गृह जिला है, इस बार भी राजग की सुरक्षित जमीन माना जा रहा है। 2020 में यहां की सात में से छह सीटें राजग के पास थीं।
महागठबंधन ने इस बार भूमिहार और अति पिछड़ा वोट बैंक को साधने की कोशिश की है, परंतु नीतीश फैक्टर यहां निर्णायक भूमिका निभा रहा है।


महिला वोट और नीतीश फैक्टर बनेगे निर्णायक

वरिष्ठ पत्रकार अरुण पांडेय का कहना है कि 2020 की तरह इस बार भी पहले चरण में राजग की स्थिति मजबूत है। राज्य की महिला मतदाता (लगभग 48%) अब भी नीतीश कुमार की साइलेंट समर्थक मानी जा रही हैं।
वहीं, पत्रकार गौतम चौधरी के अनुसार, राजग को असली चुनौती दूसरे चरण में मिलेगी, जहां भोजपुरी पट्टी में तेजस्वी यादव और जन सुराज का प्रभाव अधिक है।

फिलहाल पहले चरण में नीतीश फैक्टर, महिला वोट और चिराग पासवान-उपेंद्र कुशवाहा की मौजूदगी राजग के पक्ष में माहौल बना रही है।