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March 13, 2025 2:17 AM

बेंगलुरू में डिजिटल धर्मांतरण: क्यूआर कोड के जरिए नई साजिश का खुलासा

बेंगलुरू में डिजिटल धर्मांतरण का खुलासा, क्यूआर कोड से हो रहा कन्वर्जन

स्वदेश ज्योति ब्यूरो
बेंगलुरू। भारत में लंबे समय से भोली-भाली जनता को डिजिटल ठगी और प्रताड़ना के माध्यम से निशाना बनाया जा रहा है। इसी बीच बेंगलुरू में डिजिटल धर्मांतरण का एक नया मामला सामने आया है, जिसने सरकार और प्रशासन की चिंता बढ़ा दी है। अब ईसाई मिशनरियों ने तकनीक का उपयोग करते हुए धर्मांतरण को डिजिटल स्वरूप दे दिया है, जिसमें क्यूआर कोड की मदद ली जा रही है।

क्यूआर कोड से हो रहा धर्मांतरण का प्रयास

हाल ही में बेंगलुरू के बेगुर इलाके में एक घटना सामने आई, जहां कुछ महिलाओं का समूह लोगों को व्यक्तिगत विजिटिंग कार्ड जैसे दिखने वाले कार्ड बांट रहा था। इन कार्डों में एक क्यूआर कोड प्रिंट था। महिलाओं ने दावा किया कि अगर किसी व्यक्ति को जीवन की समस्याएँ, बेरोजगारी या विवाह में कठिनाइयों जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है, तो क्यूआर कोड को स्कैन करने से उन्हें समाधान मिल जाएगा।

महिला की सतर्कता से हुआ खुलासा

जब एक सतर्क महिला ने इन महिलाओं को राहगीरों से बातचीत करते और कार्ड बांटते हुए देखा, तो उसने उनकी गतिविधियों के बारे में पूछताछ की। महिलाओं ने उससे भी वही दावा किया कि क्यूआर कोड स्कैन करने पर जीवन की सभी समस्याओं का समाधान मिल सकता है। महिला ने जब मौके पर क्यूआर कोड स्कैन किया, तो पाया कि उसमें पवित्र बाइबिल की शिक्षाएँ थीं। इस धार्मिक सामग्री का पता चलते ही महिला ने आपत्ति जताई, जिसके बाद क्यूआर-कोड वाले कार्ड बांटने वाली महिलाएँ तुरंत वहाँ से चली गईं।

हिंदू संगठनों की प्रतिक्रिया और पुलिस की कार्रवाई

इस घटना के बाद हिंदू कार्यकर्ताओं ने इस डिजिटल माध्यम से धर्मांतरण के प्रयासों पर नाराजगी जताई और प्रशासन से तत्काल कार्रवाई की मांग की। कार्यकर्ताओं का आरोप है कि यह एक सुनियोजित साजिश है, जिसमें भोले-भाले लोगों को बहला-फुसलाकर धर्म परिवर्तन के लिए प्रेरित किया जा रहा है।

डिजिटल अरेस्ट के माध्यम से हो रही ठगी

गौरतलब है कि इस वर्ष मात्र 10 महीनों में 2140 करोड़ रुपये की ठगी डिजिटल अरेस्ट के तरीके से की गई है। इस ठगी में स्कैमर्स खुद को ईडी, सीबीआई, पुलिस या रिजर्व बैंक का अधिकारी बताकर आम लोगों को किसी फर्जी केस में फंसाने का दावा करते हैं। इसके बाद उन्हें जबरन फर्जी कानूनी कार्रवाई के नाम पर ठगा जाता है। अब इसी तरह की तकनीक का उपयोग धर्मांतरण के लिए भी किया जाने लगा है।

सरकार और प्रशासन की बढ़ी चिंता

इस नए प्रकार के डिजिटल धर्मांतरण के खुलासे के बाद सरकार और प्रशासन की चिंता बढ़ गई है। प्रशासन ने इस मामले में गहराई से जांच शुरू कर दी है और डिजिटल प्लेटफॉर्म्स के दुरुपयोग को रोकने के लिए कड़े कदम उठाने की योजना बनाई जा रही है। पुलिस भी इस मामले में कड़ी निगरानी रख रही है और लोगों से सतर्क रहने की अपील कर रही है।

नागरिकों के लिए चेतावनी

मौजूदा हालात को देखते हुए नागरिकों से अपील की गई है कि वे किसी भी अज्ञात क्यूआर कोड को स्कैन करने से पहले सतर्क रहें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की तुरंत पुलिस को सूचना दें। सरकार डिजिटल माध्यमों के दुरुपयोग को रोकने के लिए सख्त नियम लागू करने की योजना बना रही है ताकि इस प्रकार के धर्मांतरण या ठगी के प्रयासों को रोका जा सके।

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