June 8, 2025 1:25 AM

चिन्नास्वामी भगदड़ मामला: आरसीबी के मार्केटिंग हेड निखिल समेत चार गिरफ्तार, न्यायिक जांच आयोग गठित

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बेंगलुरू, 6 जून। आईपीएल की चैंपियन बनी रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरू (RCB) के विजय जुलूस के दौरान चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर मची भगदड़ अब कानून के शिकंजे में आ चुकी है। इस दर्दनाक हादसे में अब तक 11 लोगों की मौत और 50 से अधिक लोगों के घायल होने के बाद राज्य सरकार ने जांच तेज़ कर दी है। मामले में अब तक चार लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जिनमें आरसीबी के मार्केटिंग प्रमुख निखिल सोसले भी शामिल हैं।


कौन-कौन गिरफ्तार हुआ?

बेंगलुरू की कब्बन पार्क पुलिस ने इस केस में सबसे बड़ी कार्रवाई करते हुए शुक्रवार को आरसीबी मार्केटिंग डिपार्टमेंट के हेड निखिल सोसले को मुंबई एयरपोर्ट पर गिरफ्तार किया, जब वे देश छोड़ने की कोशिश में थे।

इसके अलावा डीएनए इंस्टीट्यूट नामक इवेंट कंपनी के तीन प्रमुख सदस्य—सुनील मैथ्यू, किरण और सुमंत को भी हिरासत में लिया गया है। पूछताछ शेषाद्रिपुर अनुमंडल के एसीपी प्रकाश के नेतृत्व में चल रही है।


जांच सीआईडी को सौंपने के साथ न्यायिक आयोग का गठन

कर्नाटक सरकार ने मामले की गंभीरता को देखते हुए पूरे प्रकरण की जांच क्राइम इन्वेस्टिगेशन डिपार्टमेंट (CID) को सौंप दी है। साथ ही, एक न्यायिक जांच आयोग भी गठित किया गया है, जो आयोजन में हुई चूक और लापरवाही की परतें खोलेगा।


पुलिस कमिश्नर बदले गए

सरकार ने घटना के बाद बेंगलुरू पुलिस कमिश्नर का तबादला कर दिया है। नए पुलिस कमिश्नर सीमांत कुमार सिंह (आईपीएस) को नियुक्त किया गया है, जो अब पूरे केस की निगरानी करेंगे।


केएससीए अधिकारी फरार, एफआईआर रद्द करने कोर्ट पहुंचे

मामले में नया मोड़ तब आया जब पुलिस ने कर्नाटक स्टेट क्रिकेट एसोसिएशन (KSCA) के सचिव ए. शंकर और कोषाध्यक्ष ई.एस. जयराम के आवासों पर छापे मारे। जानकारी मिली है कि ये दोनों अधिकारी बिना अनुमति के विजय जुलूस आयोजित करने के मुख्य आरोपित हैं, और अब फरार हैं।

वहीं, खुद को निर्दोष बताते हुए केएससीए की गवर्निंग बॉडी ने कर्नाटक हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। अध्यक्ष रघुराम भट, सचिव और कोषाध्यक्ष ने कोर्ट में एफआईआर रद्द करने की याचिका दायर की है।


लापरवाही की कीमत: जान गई 11 लोगों की

घटना 4 जून की रात चिन्नास्वामी स्टेडियम के पास हुई थी, जब आरसीबी के विजय जश्न में हजारों की भीड़ उमड़ पड़ी थी। आयोजन की कोई पूर्व अनुमति नहीं ली गई थी, और सुरक्षा इंतजाम भी नाकाफी थे। इसी अव्यवस्था के बीच मची भगदड़ में कई जिंदगियां चली गईं।


आगे की कार्रवाई

CID और न्यायिक आयोग दोनों अब विस्तृत जांच कर रहे हैं। रिपोर्ट आने के बाद कई और गिरफ्तारी संभव हैं। केएससीए और इवेंट आयोजकों की भूमिका अब पूरी तरह जांच के घेरे में आ चुकी है।


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