प्रयागराज। आधी रात से शुरू हुई पावन डुबकी के साथ रविवार को प्रयागराज में महाकुंभ 2025 का भव्य शुभारंभ हो गया। 144 साल बाद बने दुर्लभ खगोलीय संयोग में गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती की त्रिवेणी के तट पर यह 45 दिन तक चलने वाला आयोजन सनातन परंपराओं और आध्यात्मिकता का सबसे बड़ा समागम है। इसमें 45 करोड़ श्रद्धालुओं, संतों और कल्पवासियों के आने की संभावना है।
इस महाकुंभ में विश्व के 183 देशों से मेहमान शामिल होंगे। 26 फरवरी तक चलने वाले इस धार्मिक पर्व के लिए प्रयागराज को भव्यता और आधुनिकता का अद्भुत संगम बनाते हुए महाकुंभ नगर तैयार किया गया है।
144 साल बाद दुर्लभ खगोलीय संयोग
महाकुंभ 2025 को विशेष बनाने वाला खगोलीय संयोग 144 वर्षों बाद बना है।
- सूर्य, चंद्र और शनि तीनों ग्रह मकर और कुंभ राशि में गोचर कर रहे हैं।
- बुधादित्य योग, कुंभ राशि और श्रवण नक्षत्र के साथ सिद्धि योग भी बन रहा है।
- यह वही खगोलीय स्थिति है जो समुद्र मंथन के समय बनी थी।
हर 12 साल में होने वाला कुंभ तब महाकुंभ में बदलता है, जब देवगुरु बृहस्पति 12 बार वृषभ राशि का भ्रमण पूरा करते हैं।
महाकुंभ के प्रमुख आकर्षण और व्यवस्थाएं
स्नान की महत्वपूर्ण तिथियां:
- पहला अमृत स्नान: मकर संक्रांति, 14 जनवरी
- ब्रह्म मुहूर्त: सुबह 5:27 से 6:21
- विजय मुहूर्त: दोपहर 2:15 से 2:57
व्यवस्थाओं का भव्य पैमाना:
- 12.5 किमी में फैले घाट: जहां लाखों श्रद्धालु एक साथ डुबकी लगा सकते हैं।
- 67,000 स्ट्रीट लाइट्स: श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए।
- 7,000 बसें और 100 विशेष ट्रेनें: देशभर से श्रद्धालुओं को लाने के लिए।
- 1.6 लाख टेंट: जिनमें 2,200 लक्ज़री टेंट भी शामिल हैं।
महाकुंभ का आर्थिक और सांस्कृतिक प्रभाव
उत्तर प्रदेश सरकार का अनुमान है कि महाकुंभ 2025 से 25,000 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त होगा और इससे 2 लाख करोड़ रुपये की आर्थिक वृद्धि होगी।
स्थानीय उद्योगों को बढ़ावा:
- महिला स्वयं सहायता समूहों, कारीगरों, होटलों और रेस्तरां के लिए आर्थिक अवसर।
- बड़े ब्रांड्स की भागीदारी:
- डाबर, मदर डेयरी और आईटीसी जैसे ब्रांड्स 3,000 करोड़ रुपये तक का निवेश करेंगे।
महाकुंभ के दौरान विशेष सुविधाएं
सुरक्षा:
- 10,000 सीसीटीवी कैमरे और 329 एआई कैमरे।
- 2,500 ‘मेक इन इंडिया’ ड्रोन सुरक्षा निगरानी के लिए।
स्वच्छता:
- 1,22,500 शौचालय।
- 20,000 डस्टबिन और 160 कचरा परिवहन वाहन।
पर्यटन में वृद्धि:
- काशी विश्वनाथ धाम और अयोध्या जैसे प्रमुख स्थलों पर पर्यटकों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई है।
- अयोध्या में पर्यटक वृद्धि: 2016 में 2.83 लाख से 2024 में 13.4 करोड़।
- वाराणसी में पर्यटक वृद्धि: वार्षिक संख्या 50 लाख से करोड़ों तक पहुंची।
इतिहास के पन्नों से महाकुंभ
- 1882 का माध मेला: 1 लाख श्रद्धालुओं ने भाग लिया था।
- 1906 का पूर्ण कुंभ: 30 लाख से अधिक श्रद्धालु।
- सरकार की आय: 92,024 रुपये।
- खर्च: 62,480 रुपये।
- 2019 कुंभ: 24 करोड़ श्रद्धालु।
महाकुंभ 2025: प्रयागराज का 76वां जिला
- 4,000 हेक्टेयर में फैला महाकुंभ नगर।
- 56 पुलिस स्टेशन और 133 पुलिस चौकियां।
- 1,249 किमी लंबी पाइपलाइन और 3 लाख पौधे।
- स्थायी बिजली और पानी की आपूर्ति।