July 31, 2025 3:58 PM

‘महावतार नरसिम्हा’ सिनेमाघरों में रिलीज: पौराणिक कथा पर आधारित एनिमेटेड फिल्म में दिखी प्रह्लाद की भक्ति और बुराई पर अच्छाई की विजय

mahavatar narasimha, animated hindu mythological films, narasimha avatar movie, vishnu puran, hindu mythology in cinema, swadesh jyoti

‘महावतार नरसिम्हा’: भगवान विष्णु के चौथे अवतार पर आधारित नई एनिमेटेड फिल्म रिलीज

नई दिल्ली।
भारतीय संस्कृति और धार्मिक विरासत को आधुनिक तकनीक और सिनेमा के माध्यम से जनमानस तक पहुंचाने का कार्य निरंतर किया जा रहा है। खासकर हिंदू धर्म की पौराणिक कथाओं पर आधारित एनिमेटेड फिल्मों का चलन पिछले कुछ वर्षों में तेजी से बढ़ा है। इसी कड़ी में 25 जुलाई को सिनेमाघरों में रिलीज हुई ‘महावतार नरसिम्हा’ ने दर्शकों का ध्यान आकर्षित किया है। यह फिल्म भगवान विष्णु के चौथे अवतार “नरसिंह” की कथा पर आधारित है, जिसमें उनके भक्त प्रह्लाद की अटूट श्रद्धा, राक्षस हिरण्यकश्यप का अत्याचार और अंततः बुराई पर अच्छाई की विजय को दर्शाया गया है।


फिल्म की पृष्ठभूमि: विष्णु पुराण पर आधारित कथा

‘महावतार नरसिम्हा’ की कहानी विष्णु पुराण से ली गई है, जिसमें यह बताया गया है कि कैसे राक्षस राजा हिरण्यकश्यप, जो स्वयं को ईश्वर मान बैठा था, अपने ही पुत्र प्रह्लाद की भक्ति से क्रोधित होकर उसे अनेक यातनाएं देता है। लेकिन प्रह्लाद की भगवान विष्णु के प्रति अपार श्रद्धा और विश्वास डिगता नहीं। अंततः भगवान विष्णु नरसिंह अवतार में प्रकट होकर हिरण्यकश्यप का अंत करते हैं और धर्म की स्थापना करते हैं।

यह कथा न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह सत्य, आस्था और साहस के मूल्यों को भी दर्शाती है। फिल्म इन तत्वों को प्रभावशाली चित्रण, सजीव एनीमेशन और भावनात्मक संवादों के माध्यम से प्रस्तुत करती है, जिससे यह छोटे-बड़े सभी वर्गों के दर्शकों को प्रभावित करती है।


एनिमेशन तकनीक के जरिए पौराणिकता को जीवंत करने का प्रयास

‘महावतार नरसिम्हा’ में प्रयुक्त उन्नत एनिमेशन तकनीक फिल्म का प्रमुख आकर्षण है। चरित्रों का चित्रण, उनके हाव-भाव, युद्ध के दृश्य, और दैवीय शक्तियों का प्रदर्शन इस फिल्म को एक अलग स्तर पर ले जाते हैं। विशेष रूप से नरसिंह अवतार के प्रकट होने और हिरण्यकश्यप वध के दृश्य को अत्यंत प्रभावशाली ढंग से दर्शाया गया है, जो दर्शकों में धार्मिक श्रद्धा के साथ-साथ सिनेमाई उत्साह भी उत्पन्न करता है।


पौराणिक कथाओं पर बनी पूर्ववर्ती एनिमेटेड फिल्में

‘महावतार नरसिम्हा’ से पहले भी कई फिल्में बनाई जा चुकी हैं, जिन्होंने भारतीय पौराणिकता को एनिमेशन के माध्यम से बच्चों और युवाओं तक पहुंचाने का प्रयास किया। इनमें प्रमुख हैं:

  • ‘हनुमान’ (2005): यह फिल्म बाल हनुमान के जीवन पर आधारित थी और बच्चों में अत्यधिक लोकप्रिय रही।
  • ‘बाल गणेश’ (2007): भगवान गणेश की बाल लीलाओं को आकर्षक एनीमेशन में प्रस्तुत किया गया था।
  • ‘रामायण: द लीजेंड ऑफ प्रिंस राम’: यह जापानी-भारतीय सह-निर्माण में बनी एनिमेटेड फिल्म है, जिसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सराहना मिली।
  • ‘छोटा भीम: मायानगरी’ जैसे टेलीविजन आधारित एनिमेटेड शो भी पौराणिकता से प्रेरित रहे हैं।

इन सभी प्रयासों का उद्देश्य यह रहा है कि बच्चों और नई पीढ़ी को भारतीय धर्म, संस्कृति और मूल्यों से जोड़ा जाए


शिक्षा और मनोरंजन का समन्वय

‘महावतार नरसिम्हा’ न केवल एक धार्मिक कथा का चित्रण है, बल्कि यह शिक्षा और मनोरंजन का सुंदर संयोजन भी है। यह फिल्म बच्चों को नैतिक शिक्षा देती है कि सच्ची श्रद्धा और धर्म के मार्ग पर चलना अंततः बुराई पर विजय दिलाता है। वहीं वयस्क दर्शकों को यह फिल्म जीवन के गूढ़ आध्यात्मिक संदेशों की याद दिलाती है।


निष्कर्ष: पौराणिकता और तकनीक का सुंदर संगम

‘महावतार नरसिम्हा’ यह दर्शाता है कि आधुनिक तकनीक का उपयोग करते हुए भी प्राचीन भारतीय मूल्यों और कथाओं को प्रभावी रूप से प्रस्तुत किया जा सकता है। यह फिल्म उन प्रयासों का हिस्सा है, जिनके माध्यम से भारतीय सिनेमा अब केवल मनोरंजन नहीं, बल्कि सांस्कृतिक जागरूकता और धार्मिक शिक्षा का भी माध्यम बनता जा रहा है।

अगर इस दिशा में और अधिक गुणवत्ता वाली फिल्में बनीं, तो निश्चित रूप से यह नई पीढ़ी को अपनी जड़ों से जोड़ने में सहायक सिद्ध होंगी।



Share on facebook
Share on twitter
Share on linkedin
Share on whatsapp
Share on telegram